सेनाओ के यहोवा प्रभुओ का प्रभु
भरोसा जिसका उस पर हो
धन्य है वह सभी लोगो से
याह की उपस्थिती, कितना महान आ... आ...
चाहता हूँ मेरा मन उसके लिए
निहारता हूँ मेरा मन और शरीर
Verse 2
गोरियों ने अपना बसेरा बनाया
शुपाबेनी घोसला बना
जिसमे वह अपने वास करे
क्या ही धन्य तेरा भवन आ... आ...
तेरे भवन में वास करेंगे
सियोन सड़क की सुधी लेने
Verse 3
रोने की तराई में जाते हुए
उसको सोते का स्थान बना
हटायेंगे वह तुझसे जल के समान
आशीष ही आशीष उपजाति है आ... आ...
बल पर बल वह पाएंगे
पहुचेंगे वह सब सियोन में